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उत्तराखंड
पुलिस के प्रतिबंध के बावजूद नशा विरोधी मार्च
नीरज वशिष्ठ
द्वारा
नीरज वशिष्ठ
14 सितंबर, 2024
– पुलिस और अराजक के बीच विवादास्पद बहस, मुख्य मंत्री के नाम का सुझाव
संगठन(एल मोहन एल एसोसिएट), नशा विरोधी जन अभियान के तहत शनिवार को गांधी पार्क पर प्रदर्शन किया गया। दार्शनिक ने नशाखोर और प्रदर्शनकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की और पत्रकार योगेश डिमरी ने अपने साथियों के खिलाफ मुकदमा मुकदमा वापस लेने की मांग की।
कैथोलिक ने गांधी पार्क से घंटाघर तक मार्च भी किया। पुलिस ने मार्च को रोक लगाने का प्रयास किया, लेकिन स्थिर नहीं माने। इस दौरान पुलिस और समर्थकों के बीच वांछनीय बहस भी हुई। बाद में पुलिस ने वापस छोड़ दिया।
पुलिस ने पहले नशा विरोधी जन अभियान टीम गांधी पार्क में प्रदर्शन न करने की बात कही थी। लेकिन टीम ने इसे लालच से कम कर दिया था। शनिवार को जब टीम के सदस्य और आम नागरिक गांधी पार्क क्षेत्र पहुंचे तो वहां भारी पुलिस बल मौजूद था। नशा विरोधी प्रदर्शन कर रहे कार्यकर्ताओं ने पहले गांधी पार्क के गेट पर प्रदर्शन किया फिर गांधी पार्क के अंदर गांधी जी की प्रतिमा और जनगीत गाकर और नारा लगाकर प्रदर्शन किया।
इस मशीन पर क्रैमिकल ने चिंता स्टेज पर स्टोन और अवैध शराब की कहानियां प्रस्तुत कीं। ऑपरेशन करते समय त्रिलोचन भट्ट ने कहा था कि हम हिंदू-मुस्लिम विवाद में उलझकर हमारे बच्चों को नशे में धुत करने जा रहे हैं। इस पर्वत को तोड़कर यहां की जमीनों पर कब्जा करने का षडयंत्र है। बैंक यूनियन के पूर्व अध्यक्ष जगमोहन मैगनेट ने कहा कि नशे के बढ़ते चलन को नहीं छोड़ा गया तो स्थिति बेहद खराब हो जाएगी।
नशे को लेकर कॉन्स्टेबल बच्चों की काउंसिलिंग कर रहे मुकुल शर्मा ने इस अभियान को एक बहुत अच्छी शुरुआत बताई।
गढ़वाल सभा के अध्यक्ष रोशन लाल धस्मान ने गढ़वाल सभा के अभियान को पूर्ण समर्थन की बात कही, सरस्वती विहार विकास समिति के कैलाश तिवारी ने भी लोगों से अपने बच्चों को नशे से दूर रखने के लिए कहा। डेमोक्रेट ने डेमोक्रेट पर राइट-इन जारी किया, दक्षिणी सिटी मजिस्ट्रेट को मुख्यमंत्री के नाम पर अनुमति दी गई।
महिला उत्तराखंड मंच की कमला पंत ने सीधा-सीधा दार्शनिक जारी किया। आरोप में नशे की लत- राक्षस के अलावा शराबी शिक्षकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई और इसे उत्तराखंड में पूरी तरह से रोक, आस्था और जनजाति जैसे धार्मिक नगरों में अवैध शराब की धारा के खिलाफ कार्रवाई और इसे उत्तराखंड में शामिल करना उन्होंने अपने सहयोगियों पर हमला किया और उनके सहयोगियों को डाउनटाउन इलेक्ट्रिकल प्लांट वापस ले लिया और ग्रॉसरी के नाम पर शराब की दुकान का प्लास्टर बंद करने की मांग की।
इस मशीन पर डूबने वाले ने भी अपनी बात रखी और इस अभियान में जुड़े लोगों को स्तर पर बनने वाली नशा विरोधी कमेटियों ने भी शामिल किया।
इसके बाद यूनिवर्सल घंटाघर तक मार्च करने के लिए निकल गया, लेकिन पुलिस ने गांधी पार्क का गेट बंद कर दिया। इस पर पुलिस और समर्थकों के बीच असंतुलित बहस हुई और समर्थकों ने तटस्थता खो दी। अविश्वास घंटाघर स्थित पार्क सीमेंट तक मार्च करने के लिए पुलिस ने फिर से रोक लगा दी। हालाँकि अनहोनी ने पुलिस की अनदेखी की और आगे बढ़ गई।
कोम चौक पर उत्तराखंड मानवता मंच के डॉ. रवि चोपड़ा ने लोगों से अपील की कि वे अधिक से अधिक संख्या में इस अभियान में शामिल हों और बच्चों को नशे से दूर रखने में मदद करें।
प्रदर्शन में उत्तराखंड महिला मंच की निर्मल बिष्ट, उषा भट्ट, विमला सरहद नेगी, नसीमा, शकुंतला गुसाईं, विजय नैथानी, पद्मा गुप्ता, शांति सेमवाल, करुणा, रेखा डंगवाल, हेमलता नेगी, सरोजोहा नेगी, बीवी कठैत, समेत अन्य महिलाएं शामिल थीं। भू मूल निवासी आंदोलन के मोहित डिमरी, लुशुन टोडरिया के साथ ही सिटीजन फॉर ग्रीन दून की जया सिंह, सहसपुर से ग्राम प्रधान सुंदर थापा, पूर्व शिक्षा निदेशक नंद नंदा पेंडे, वरिष्ठ आंदोलनकारी ओमी उनियाल, गढ़वाल सभा के सचिव गजेंद्र भंडारी, परमजीत कक्कड़, समीर रतूड़ी, एडवोकेट शीलाखंडी, राजीव मिश्रा, पूर्व महासचिव अरुण तिवारी, सुरेश, भारत ज्ञान विज्ञान समिति के विजय भट्ट और कमलेश खंतवाल, जनसंवाद समिति के आशुतोष ढोलखंडी, धीरज नेगी, डिप्टी बडोला, पीयूष, मनीषी केडियाल, तुषार रावत, धाद के तोताराम ढौंडियाल ने भी प्रदर्शन में हिस्सा लिया।
अवैध संबधों को छुपाने के लिए किशोर की हत्या, पुलिस ने की थी आरोपी को गिरफ़्तार
14 वर्ष के किशोर की हत्या के मामले में पुलिस ने एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया है। अवैध संबंधों की पोल में किशोरों को जंगल ले जाने वालों की गला घोंटकर की हत्या की गई थी।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रह्लाद मीना ने इस हत्याकांड का खुलासा करते हुए बताया कि 12 सितंबर को थाना मुखानी पुलिस को सूचना मिली कि जंगल के जंगल में एक अज्ञात बच्चे का शव पड़ा है। सूचना पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने मौके पर पहुंच कर देखा तो एक 14 साल के बच्चे का शव मिला। एक व्यक्ति की पहचान रमाशंकर कश्यप द्वारा अपने बच्चे के रूप में की गई।
रमाशंकर कश्यप पुत्र पूर्ण लाल कश्यप निवासी बोरा काली थाना मुखानी जिला मूल पता दिमना पूछा तहसील मीरगंज जिला बेरी उत्तर प्रदेश थाना मुखानी में अपने गांव के ही निवासीवीर सत्य पुत्र स्व. ओम प्रकाश कश्यप ने जो किराए पर लिया था, उसी पर रामाशंकर कश्यप का आरोप लगा हुआ था, और उनकी पुरानी यादें भी मौजूद थीं, जिन्होंने पहले भी कई बार लड़ाई झगड़े का भुगतान किया था, अपने बच्चे की हत्या का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि 12 सितंबर की सुबह करीब 7.30 बजे वह मेरे बेटे को ले गई और स्टील के जंगल में ले जाकर उसके बेटे की उम्र 14 साल कर दी। बताया कि जब वह मेरे बेटे को जंगल के जंगल में ले जा रही थी तो उस समय मेरे साले सूरज ने मेरे बेटे को सत्यवीर के साथ जाते हुए देखा और पूछा कि कहां जा रहे हो तो बताया कि पक्षी को मारने के लिए जंगल में जा रहा है ।। रात 11 बजे मुझे सूचना मिली कि मेरे बेटे की मौत स्टील की बनी झाड़ियों में बंधी हुई है। संस्था के आधार पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। जांच के दौरान एक सीसी कैमरे में मृत किशोर के 8 साल के बच्चे के साथ दिखाई दिया, पूछताछ में बच्चे ने बताया कि उसके पिता सत्यवीर मृत धर्मेन्द्र कश्यप को बुलाया गया था। जिस पर पुलिस ने आज सुबह सैमुअल सत्यवीर को स्टील फैक्ट्री के नजदीक से गिरफ्तार कर लिया है। बुनियादी सत्यवीर ने पूछताछ में बताया कि मृतक की मां के साथ उसका नाजायज संबंध था, जिस कारण से वह लगातार बनी हुई थी और हमेशा गली में रहती थी। मुझे डर था कि कही मृतक यह अपने पिता और किसी को बात न दे। इसी वजह से मैंने अपने बच्चे के माध्यम से उसे घर पर बुलाया और उसे स्टील के जंगल में जंगली मौत के घाट उतार दिया और फिर उसकी हत्या कर दी और उसे जंगल में फेंक दिया।
Author: Uttarakhand Headline
Chief Editor . Shankar Datt , Khatima, u.s.nagar , Uttarakhand,262308